राजएक्सप्रेस। फिल्म और टेलीविजन से जुड़े लोगों की भागदौड़ भरी ज़िन्दगी... सुबह से लेकर रात तक शिफ्ट दर शिफ्ट काम करने की मारामारी.... परफेक्शन लाने के लिए बेतहाशा मेहनत... और इस मेहनत के बेहतर परिणाम के लिए ईश्वर अल्लाह की मिन्नतें, मनुहार, दुआएं....! कभी खुद के लिए वक्त न निकाल पाने का अफसोस और कभी परिवार से दूर अकेलेपन की खलिश....! काम को ज्यादा निखारने के लिए ज्यादा से भी ज्यादा वक्त की दरकार, लेकिन रेत की तरह हाथों से फिसल जाते रात दिन का अफसोस....! अचानक एक चमत्कारी दौर आया, भागती दौड़ती दुनिया को "स्टॉप" कहकर कहीं छिप गया... अब वक्त की भरमार और करने के लिए बहुत कुछ, सोचने के लिए माकूल खालीपन मौजूद है। राजधानी भोपाल के रंगमंच से चहल कदमी करते मुंबई मायानगरी अपने फन का लोहा मनवा रहे कुछ कलाकारों से बात हुई। कुछ ने इस वक्त को वरदान करार दिया तो किसी ने इसे ज़िन्दगी की नई सिख
सीख देने वाला समय करार दिया।
काम करने का ज्यादा मौका मिल रहा है : रणवीर प्रताप, (राइटर बालाजी टेलीफिल्मस)
आम दिनों में कामकाज की भागदौड़ तो होती ही है, साथ ही मेल मुलाकात और इधर उधर की व्यस्तताएं भी होती हैं। लॉक डॉउन ने एक ऐसा मौका दिया है, जिसमें सिर्फ और सिर्फ काम ही करने का सिलसिला चल रहा है। आमतौर पर घर से ही लेखन काम चलता है लेकिन प्रोडकशन साइट पर जाकर कई बार कुछ काम निपटाना पड़ते हैं। अब न साइट, न मेल मुलाकात, न पार्टी और न यहां वहां जाना। लेखन पहले से ज्यादा तेज रफ्तार से जारी है। ये एक अच्छा मौका मिला है, जब काम में पहले से ज्यादा मन लग रहा है। लॉक डॉउन ने परिवार के साथ अधिक समय गुजारने का मौका भी दिया है, जिसको एंजॉय कर रहे हैं।
अम्मा की खिदमत, टैलेंट संवारने का बेहतर मौका : अली खान, डायरेक्टर (अभिनय मंच एक्टिंग एकेडमी)
लॉक डॉउन ने वह समय और मौका मुहैया कराया है, जो हमें मुश्किल से ही मिल पाता है। अम्मा की खिदमत न कर पाने का जो मलाल हमेशा से दिल में बना रहता था, वह अरमान अब पूरा करने का मौका मिला है। घर में रहकर घर की सफाई से लेकर किचन में नए नए स्वाद पर एक्सपेरिमेंट करने में मजा आ रहा है। खाली वक़्त ने खुद के टैलेंट को निखारने का मौका भी दिया है। साथ ही नए और जरूरतमंद कलाकारों की प्रोफाइल फोल्डर गंभीरता से देखने समझने का भी टाइम मिल रहा है। कोशिश कर रहा हूं कि इस वक़्त का उपयोग कर अपने शहर के ज्यादा से ज्यादा आर्टिस्ट के लिए बेहतर मौका मुहैया करवा सकूं।
इस लॉक डॉउन को पॉजिटिव लें : शिखा भारद्वाज, कास्टिंग डायरेक्टर (अभिनय मंच एक्टिंग एकेडमी)
इस लाॅक डाउन नहीं "ये मी टाइम है" इसमें हमें खुद अपने आप के साथ एक अच्छा वक्त बिताना है। मैं अपने आप को और अपनी फैमिली को टाइम दे रही हूँ, वो चीज़ें जो कभी सोचते थे कि फ्री टाइम में करेंगे वो अभी कर रही हूँ, जिसमें कुकिंग, रीडिंग बुक्स और कुछ ऑनलाइन कोर्सेस। this is reboot time for earth and mankind too. हमें इसे पॉजिटिव लेना चाहिए। लॉक डॉउन के रूप में एक अच्छा मौका मिला है, जब हम अपने परिवार को बेहतर समय दे सकते हैं। ये समय ऐसा भी है, जिसमें हम अपने काम, व्यवहार और हर पल को ऐसा समायोजित करें, जिससे दूसरों को परेशानी भी न हो और उनका सहयोग भी किया जा सके।
कुछ रुके हुए, कुछ नए काम करने का मौका मिल गया : अदनान खान, एक्टर
लॉक डॉउन ने बहुत लंबा वक्त दिया है, जिसकी वजह से कई रुके हुए काम आसानी से पूरे किए जा सके हैं। कई नए प्रोजेक्ट पर काम करना भी आसान हो गया है। लॉक डॉउन के बहाने मिले खाली वक़्त में हमने कुछ वेब सीरीज और नए ड्रामे की तैयारी की है। ये तैयारी सब चीजें सामान्य होने के बात काम को गति देने में बहुत काम आने वाली हैं। मेरी आप सभी से गुजारिश है कि लॉक डॉउन का पूरी तरह से पालन करें। ऐसा कोई काम न करें, जिससे किसी दूसरे के लिए कोई परेशानी खड़ी हो। हमारा का एहतियात हमारे बेहतर कल और स्वस्थ समाज का कारक बनेगा। सरकार और प्रशासन के दिशा निर्देशों का पालन कर हमें व्यवस्था बनाए रखने में सहयोग करना चाहिए।