बक्सर : पूरे देश का सिस्टम कोरोना के खिलफ जारी जंग से बुरी तरह जूझ रहा है। ऐसे में तमाम विभागों के सारे कार्य ठप्प होने के कारण किसानों से धान खरीद का काम भी पूरी तरह बंद हो गया है। इसी 31 मार्च को धान क्रय की समय सीमा भी समाप्त हो जाने के बाद धान खरीद पर स्वत: ब्रेक लगने का खतरा पैदा हो गया था। हालांकि, राज्य सरकार ने धान अधिप्राप्ति की मियाद को एक महीने बढ़ाकर 30 अप्रैल तक करने का निर्णय लिया है।
इसकी जानकारी देते जिला सहकारिता पदाधिकारी अखिलेश कुमार ने बताया कि इससे किसानों कोरोना संकट का असर खेती बारी पर भी भरपूर पड़ा है। सरकारी दर पर किसानों से धान खरीदने का काम पूरी तरह से बंद पड़ा है। जिले को एक लाख एमटी धान खरीदारी का लक्ष्य दिया गया था। जिसमें 35 हजार एमटी धान खरीद की जा चुकी थी। इसी बीच लॉकडाडन के बाद खरीदारी पर स्वत: ब्रेक लग गया। इस संबंध में केंद्र सरकार से खरीद की तिथि आगे बढ़ाने के लिए लिखा गया था। जिस पर सरकार ने निर्णय लिया है और समय सीमा बढ़ाई गई है। डीसीओ ने बताया कि गनीमत है कि मार्च के शुरूआती दौर में खरीदारी की तेजी से बढ़ी रफ्तार के बाद 35 हजार एमटी खरीद हो चुकी थी। जो लक्ष्य के एक तिहाई से ज्यादा है। इसी दौरान 13 हजार एमटी चावल भी एसएफसी को भेजा जा चुका था।
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Posted By: Jagran
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