कोरोना वायरस से बचने के लिए देश भर में जारी लॉक डाउन का असर बिहार में भी दिख रहा है। अधिकांश सड़कें सुनी हैं और लोगों की आवाजाही भी नहीं के बराबर है। हालांकि तमाम चेतावनी के बाद भी कुछ लोग लॉक डाउन का उल्लंघन करने से बाज नहीं आ रहे हैं।
पुलिस भी ऐसे लोगों के साथ सख्ती से पेश आ रही है। 24 मार्च से शुरू हुए लॉक डाउन के तहत अबतक राज्य में 215 एफआईआर दर्ज की जा चुकी है। लॉक डाउन को तोड़नेवालों के खिलाफ शाम तक 26 जिलों की रिपोर्ट पुलिस मुख्यालय को प्राप्त हुई थी। रिपोर्ट के मुताबिक गुरुवार को शाम 6 बजे तक 71 एफआईआर दर्ज की गई थी जबकि 37 व्यक्तियों को गिरफ्तार किया गया था। 1488 वाहनों को लॉक डाउन का उल्लंघन करने पर जब्त किया गया। इस दौरान 2379000 रुपए जुर्माना भी वसूला गया। यह संख्या और भी बढ़ेगी क्योकि सभी जिलों से रिपोर्ट आनी बाकी थी।
चार दिनों में 3615 वाहन जब्तपुलिस मुख्यालय के मुताबिक लॉक डाउन के दौरान इसका उल्लंघन करने वालों के खिलाफ सख्ती बरती जा रही है। 24 मार्च से अबतक 3615 वाहनों को जब्त किया गया है। वहीं जुर्माने के तौर पर 6973250 रुपए वसूले गए हैं। तीन दिनों में कुल 215 प्राथमिकी दर्ज की गई और 85 व्यक्तियों को गिरफ्तार किया गया। पहले दिन यानी 24 मार्च को 40, 25 मार्च को 8 जबकि 26 मार्च को 37 गिरफ्तारी हुई। लॉक डाउन सुनिश्चित करने को सभी जिलों को कहा पुलिस मुख्यालय के मुताबिक लॉक डाउन का पालन सुनिश्चित करने के लिए सभी जिलों को कहा गया है।
पुलिस हरसंभव लोगों को लॉक डाउन में बाहर नहीं निकलने के लिए सचेत कर रही है। लाउड स्पीकर से अपील भी की जा रही है कि घरों से न निकले। बावजूद जो व्यक्ति बेवहज बाहर निकल रहे हैं उनके खिलाफ कार्रवाई की जा रही है। लोगों को रोकने के लिए जगह-जगह पुलिस फोर्स की तैनाती की गई है। गश्ती भी बढ़ा दी गई है। आवश्यक सेवाओं के अलावा उन्हें ही आने जाने की इजाजत है जो जरूरी काम से बाहर निकले हैं। इसके अलावा कोई भी आता-जाता है तो उसके खिलाफ सख्ती कानूनी कार्रवाई होगी।