टंडवा थाना के कररबारी नदी के तट पर स्थित गजना धाम मंदिर एवं पुनपुन नदी के उद्गम स्थल पुनपुन कुंड पर नये साल में बिहार एवं झारखंड के लोग पिकनिक मनाने और मंदिर में दर्शन करने के लिए पुरे दिन पहुंचते रहे। दोनों स्थलों पर नये साल का जश्न मनाने के लिए भीड़ लगी रही। गजना
शक्ति पीठ के रुप में विख्यात है। हर वर्ष नव वर्ष पर दोनों जगहों पर काफी संख्या में लोग पहुंचते हैं। पुनपुन के उद्गम स्थल पिकनिक स्पॉट के लिए विख्यात है। पिकनिक मनाने और मंदिर में दर्शन करने वाले श्रद्धालुओं से गजना धाम गुलजार रहा। बता दें कि गजना मंदिर में निराकार मो की पूजा होती है। पर्यटन विभाग के द्वारा इसे पर्यटन के कैलेंडर में शामिल किया गया है। यह धाम बिहार एवं झारखंड के लिए आस्था का प्रमुख केंद्र बन गया है। लोग बताते है कि प्राचीन काल में यह क्षेत्र आदि मानवों का निवास स्थान था। पोलडीह गांव में अवशेष आज भी है। महंत अवध बिहारी दास ने बताया कि मां गजनेश्वरी को वन देवी भी कहा जाता है। सत्यनारायण सिंह उर्फ साधु जी ने बताया कि 55 साल पहले यहां खपड़ा का मंदिर था जहां मिट्टी के हाथी घोड़े चढ़ाए जाते थे। पहले यहां बकरे की बलि दी जाती थी। बाद में स्थानीय ग्रामीणों के कहने पर पंडित मुखदेव दास ने बलि प्रथा को बंद कराया। हर वर्ष विभिन्न प्रांतों से श्रद्धालु मां की पूजा करने आते हैं। यहां आने वाले सभी की मनोकामनाएं मां पूरी होती है। कररबारी नदी के तट पर स्थित मंदिर आकर्षण का मुख्य केंद्र है।
शराब के साथ विक्रेता गिरफ्तार यह भी पढ़ें
Posted By: Jagran
डाउनलोड करें जागरण एप और न्यूज़ जगत की सभी खबरों के साथ पायें जॉब अलर्ट, जोक्स, शायरी, रेडियो और अन्य सर्विस