अबतक जिले में शुरू नहीं हुआ फोर्टफाइड चावल का उत्पादन

संस, सहरसा। खाद्य एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग ने केंद्र सरकार की नीतिगत निर्णय के आलोक में राज्य सरकार ने जनवितरण दुकानों, स्कूलों व आंगनबाड़ी केंद्रों में फोर्टिफाइड अरवा/ उसना चावल वितरण का निर्देश दिया। इसके तहत सभी राइल मीलों को भी फोर्टिफाइड चावल उत्पादन का निर्देश दिया। विभाग ने 25 मार्च के बाद फोर्टिफाइड चावल का उत्पादन नहीं करनेवाले मीलों से चावल प्राप्त नहीं करने और इन मीलों को मिलिग का भी काम नहीं देने का आदेश दिया है। बावजूद इसके जिले के कुछ राइस मीलों में ब्लेडिग यूनिट तो लगाया गया, परंतु फोर्टिफाइड चावल का उत्पादन प्रारंभ नहीं किया जा सका है। इसके चलते जनवितरण दुकानों को कौन कहे आंगनबाड़ी केंद्रों में भी फोर्टिफाइड चावल नहीं दिया जा रहा है।


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महज दस मीलों में लगा ब्लेंडर यूनिट
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जिले में 15 राइस मीलों को पैक्सों से संबद्ध कर मिलिग का कार्य दिया जाता है। निदेशानुसार इन सभी मीलों को 25 मार्च तक ही ब्लेडिग यूनिट लगाया जाना था, परंतु अप्रैल माह तक नौ और मई में एक यानि कुल दस में यूनिट लगा। इन मीलों में भी फोर्टिफाइड चावल का उत्पादन नहीं शुरू हो सका है। शेष मीलों में निर्देश के बावजूद अबतक यूनिट भी स्थापित नहीं किया जा सका।
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क्या है फोर्टिफाइड चावल से फायदा
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फोर्टिफाइड चावल में विटामिन ए, विटामिन बी वन, विटामिन बी- 12 फोलिक एसिड, आयरन और जिक जैसे पोषक तत्व शामिल रहता है। चावल में सूक्ष्म पोषक तत्वों को कृत्रिम तरीके से बढ़ाकर पोषणयुक्त बनाया जाता है। जो कुपोषण दूर करने में काफी सहायक सिद्ध हो सकता है। इस लिहाज से सरकार ने जनवितरण के अलावा आंगनबाड़ी केंद्र व विद्यालयों में फोर्टफाइड चावल वितरण का निर्देश दिया है।
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विभाग ने ब्लैंडर मशीन लगानेवाले मीलों से चावल प्राप्त करने का निर्देश दिया है। सरकार स्तर से मिश्रण के लिए चावल नहीं मिलने से इसका उत्पादन शुरू नहीं हुआ है। आंगनबाड़ी केंद्रों को चावल उपलब्ध कराना एसएफसी की जिम्मेवारी है। उम्मीद है कि जल्द ही जिले में फोर्टिफाइड चावल का उत्पादन शुरू हो जाएगा।
शिवशंकर कुमार
डीसीओ, सहरसा।

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