आज भारत में विश्व कैलीग्राफी दिवस (World Calligraphy Day) मनाया जाता है। हर साल अगस्त महीने के दूसरे बुधवार को यह दिन सेलिब्रेट किया जाता है। कैलीग्राफी एक ऐसी कला है, जिससे शब्दों को सुदंर रुप दिया जाता है। कैलीग्राफी स्टाइल में लिखने के लिए तिरछे ब्रश का इस्तेमाल किया जाता है। मगर, कम लोग जाते हैं कि कैलीग्राफी का चलन मुगलों ने शुरू किया था। यही नहीं, देश का सविधान लिखने के लिए भी कैलीग्राफी का भी इस्तेमाल किया गया था। चलिए आज हम आपको कैलीग्राफी से जुड़ी कुछ ऐसी बातें बताते हैं, जो शायद ही किसी को पता हो।
कैलीग्राफी क्या है?
कैलीग्राफी लिखने की एक ऐसी दृश्य कला है, जिसमें टिप इंस्ट्रूमेंट, ब्रश, या अन्य लेखन उपकरणों का यूज किया जाता है। इससे अक्षरों को डिजाइनर तरीके से लिखा जाता है, जिससे वो आम शब्दों से अलग और सुदंर दिखते हैं।
विश्व कैलीग्राफी दिवस का इतिहास
2017 में मेनुस्क्रिप्ट पेन कंपनी (Manuscript Pen Company) ने इस दिन को मनाने की शुरूआत की थी, जिसका मकसद इस कला के विकास को बढ़ाना था। मेनुस्क्रिप्ट पेन कंपनी एक कारीगरी रिटेलर है जो कैलीग्राफी वस्तुओं का निर्माण करती है। यही नहीं, कंपनी द्वारा हर साल स्कूलों, कॉलेज आदि में कैलीग्राफी प्रतियोगिताएं भी करवाई जाती हैं।
सदियों से चली आ रही इस कला का जिक्र चीनी, मिस्त्रियों, इस्लामियों और प्राचीन पश्चिमी घटनाक्रमों में भी मिलता है। यही नहीं, कुरान लिखने के लिए भी कैलीग्राफी कला का ही इस्तेमाल किया गया है। वहीं, मुगल अपनी आत्मकथा लिखने के लिए इस कला का इस्तेमाल करते थे। कोरिया में भी पुराने दस्तावेजों पर कैलीग्राफी से ही लिखा गया है।
कैसे मनाएं वर्ल्ड कैलीग्राफी डे?
आज भी कैलीग्राफी लेखन कला का इस्तेमाल किया जाता है, जिसे आप भी आसानी से सीख सकते हैं। फिलहाल आप इस दिन को अपने अभ्यास और आवश्यकता अनुसार सेलिब्रेट कर सकते हैं। यूट्ब पर कैलीग्राफी आर्ट की काफी वीडियो उपलब्ध हैं, जिससे आपको काफी कुछ सीखने को मिल सकता है।