यह लक्षण दिखें तुरंत करा लें जांच, नहीं तो हो जाएंगे फेफड़ों के कैंसर का शिकार, यह है बचाव का तरीका

कर्क रोग रोगों का एक वर्ग है जिसमें कोशिकाओं का एक समूह अनियंत्रित वृद्धि (सामान्य सीमा से अधिक विभाजन), रोग आक्रमण (आस-पास के उतकों का विनाश और उन पर आक्रमण) और कभी कभी अपररूपांतरण अथवा मेटास्टैसिस (लसिका या रक्त के माध्यम से शरीर के अन्य भागों में फ़ैल जाता है) प्रदर्शित करता है। कैंसर कितनी गंभीर बीमारी है ये शायद इस वक्त हर कोई जानता है लेकिन कैंसर में एक लंग कैंसर भी होता है। जिसके बारे में कम ही लोग जाते हैं। आज फेफड़ों में होने वाले कैंसर के मरीजों की संख्या बढ़ रही है इसका एक कारण ये भी है कि लोग इस कैंसर के बारे में कम जानते हैं जिसके कारण वो लोग लापरवाही दिखाते हैं और इसके शिकार हो जाते हैं। आज हम आपको इस कैंसर के लक्षण और बचाव के बारे में बताने जा रहे हैं। फेफड़ों के कैंसर के शुरुआती संकेत जो लोग सिगरेट पीते हैं वे 15 से 30 गुना अधिक फेफड़ों के कैंसर होने की संभावना रखते हैं। हालांकि, धूम्रपान न करने वालों के बीच फेफड़ों के कैंसर का भी बढ़ता हुआ प्रभाव देखा गया है। लंग कैंसर के लक्षण भिन्न होते हैं। जहां यह फैलता है वहां के प्रभावित सेल के प्रकार पर निर्भर करता हैं। साथ ही इसपर की ट्यूमर कितना बड़ा होता है। कुछ प्रकार के कैंसर किसी भी लक्षण को तब तक नहीं दिखाते जब तक कि वो एक अंतिम चरण में न हों। इस प्रकार के कैंसर की रोकथाम के लिए जांच करके शुरूआती लक्षणों को पहचान महत्वपूर्ण है। लक्षण अगर आपको नीचे दिये गए लक्षण दिखाई दें तो बिना देर किये आप तुरंत ही डॉक्टर से संपर्क करें क्योंकि ये फेफड़ों के कैंसर का इशारा हो सकता है। 1. लंबे समय तक खांसी आना या फिर खांसने के बाद आवाज में बदलाव आना। 2. सांस लेने वक्त सीटी जैसी आवाज आना। 3. खांसते वक्त मुंह से खून निकला या फिर थूक के रंग का बदलना। 4. सिर में तेज दर्द के साथ चक्कर आना और शरीर में कमजोरी महसूस करना। 5. वजन तेजी से घटना और भूख में कमी आना। 6. शरीर के विभिन्न अंगों जैसे कि चेहरे, हाथ, गर्दन और उंगलियों में सूजन आना। 7. कंधे, पीठ और पैरों में लगातार दर्द होना। 8. सांस की नली में सूजन आना और संक्रामक रोगों का जल्दी-जल्दी होना। बचाव फेफड़े के कैंसर से खुद को बचाने के लिए सिगरेट से दूर रहना चाहिए। इतना ही नहीं अगर कोई आपके सामने सिगरेट पी रहा है तो उससे निकलने वाले धुएं से भी खुद को बचाना होगा। इसके साथ ही प्रदुषण मुक्त महौल में रहें। बाइक, स्कूटर से निकलने वाला धुआ भी आपके फेफड़े को नुकसान पहुंचा सकता है।

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