रामगोपाल जाट।
राजस्थान की मुख्यमंत्री अशोक गहलोत वाली सरकार बड़े संकट में फंसी हुई नजर आ रही है। इसको देखते हुए पार्टी के 110 विधायकों को होटल में बंद कर दिया गया है। भारतीय जनता पार्टी के द्वारा बड़ा पैसा देकर कांग्रेस के एमएलए तोड़ने की साजिश की संभावना को देखते हुए गहलोत सरकार खासी घबराहट में है।
बड़े कैश ट्रांजैक्शन की संभावना, मुख्य सचेतक ने लिखा पत्र
राजस्थान विधानसभा में मुख्य सचेतक महेश जोशी ने एसीबी के एडीजी को पत्र लिखकर कहा है कि केंद्र के द्वारा राजस्थान में बड़ा कैश ट्रांजैक्शन हो रहा है, इसकी जांच की जाए और अपराधियों को सजा देने की कार्रवाई की जाए।
महेश जोशी के इस पत्र के बाद भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष डॉ सतीश पूनिया, उपनेता प्रतिपक्ष राजेंद्र सिंह राठौड़ और पार्टी के अन्य पदाधिकारियों- विधायकों के द्वारा कांग्रेस के आरोपों को निराधार बताते हुए सबूत पेश करने को कहा है।
बैठक के बाद कांग्रेस ने अपने विधायकों को होटल में बंद किया
इधर, बुधवार शाम 7:00 बजे मुख्यमंत्री कार्यालय में कांग्रेस विधायक दल की बैठक हुई। बैठक के बाद सभी विधायकों को बसों के द्वारा दिल्ली रोड पर स्थित शिव विलास होटल में ले जाया गया जहां पर 125 कमरे बुक किए गए हैं। कहा गया है कि सभी को 19 जून तक यहीं पर रहना है।
5 से 10 करोड़ रुपये देने के ऑफर
कांग्रेस का आरोप है कि उनके विधायकों को भारतीय जनता पार्टी के द्वारा 5 से लेकर 10 करोड़ रुपये तक एडवांस पैसा देकर इस्तीफा देने के लिए मजबूर किया जा रहा है। यह बात पार्टी के द्वारा विधायक दल की बैठक बुलाई गई थी उसमें भी उठी है, जिसके चलते पार्टी ने सभी विधायकों की बाड़ाबंदी कर दी है।
भाजपा कर रही है हॉर्स ट्रेडिंग
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पार्टी के अध्यक्ष और उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट के द्वारा कहा गया है कि भाजपा और हॉर्स ट्रेडिंग कर रही है। इसके जवाब में डॉ सतीश पूनिया ने कहा है कि कांग्रेस को अपने ही विधायकों के ऊपर भरोसा नहीं है और जनमत से चुनकर आए प्रतिनिधियों को एक कैद खाने में रख दिया गया है।
कई विधायकों ने जताई नाराजगी
सूत्रों का कहना है कि कांग्रेस के द्वारा विधायकों को एक होटल में ठहराया जाने का कई जनप्रतिनिधियों ने विरोध किया है। विरोध के चलते अशोक गहलोत ने देर रात कुछ विधायकों को अपने घर पर जाने और दवा व आवश्यक वस्तुएं लेकर वापस सुबह होटल में आने के निर्देश दिए गए हैं।
यह भी कहा जा रहा है कि कांग्रेस के द्वारा अचानक विधायक दल की बैठक के बहाने एकत्रित कर उनको होटल में बंद किए जाने की कई विधायकों ने गहरी नाराजगी जताई है।
सूत्रों का कहना है कि पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के द्वारा बड़ी रकम राजस्थान के कांग्रेस विधायकों को दिए जाने की बात सामने आई है। हालांकि अभी तक किसी भी विधायक तक रकम पहुंचने की सूचना नहीं है, लेकिन प्रलोभन कईयों को दिया गया है।
गुजरात में कांग्रेस के 8 विधायक दे चुके हैं इस्तीफा
आपको बता दें कि गुजरात में भी 19 जून को ही राज्यसभा सीटों के लिए चुनाव होना है। उससे पहले वहां पर भी कांग्रेस के आठ विधायक इस्तीफा दे चुके हैं। विधायकों के इस्तीफा दिए जाने के डर से ही अशोक गहलोत के द्वारा सभी विधायकों को एक होटल में बंद किया गया है।
मजेदार बात यह है कि जिन जनप्रतिनिधियों को जनता चुनकर विधानसभा भेजती है, उनको पार्टी अध्यक्ष या फिर मुख्यमंत्री के द्वारा इस्तीफा दिए जाने के डर से एक होटल में बंद कर दिया जाता है और इसको लोकतंत्र के लिए खतरा बताने वाली पार्टी सही ठहराने का कार्य भी करती है।
चुनाव से 9 दिन पहले सरकार को गिरने का डर!
जिस तरह से राजस्थान में यकायक राजनैतिक उलटफेर शुरू हुआ है और कांग्रेस के द्वारा अपने विधायकों को होटल में बंद किया गया है। उससे स्पष्ट हो गया है कि कांग्रेस को अपने विधायकों द्वारा इस्तीफा दिए जाने का निश्चित रूप से डर है।
राज्यसभा की 3 सीटों के लिए होगा मतदान
संख्याबल के आधार पर बात की जाए तो राजस्थान 15 राज्यसभा सीटों के लिए 19 जून को चुनाव होंगे और इसमें 2 सीट कांग्रेस के पाले में कुल 1 सीट भाजपा के पाले में जाने की पूरी संभावना है।
संख्या बल कांग्रेस के साथ
कांग्रेस के पास आज की तारीख में 107 विधायक हैं। जबकि 13 निर्दलीय विधायक, दो विधायक भारतीय ट्राईबल पार्टी और दो विधायक लेफ्ट के भी हैं, जिनका भी सरकार को समर्थन होने की बात कही गई है। इसके साथ ही एक विधायक राष्ट्रीय लोक दल का भी है, जो कांग्रेस के साथ है।
भाजपा के पास केवल 75 विधायक
भारतीय जनता पार्टी के पास 72 विधायक हैं, जबकि तीन विधायक राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के हैं। इस तरह से देखा जाए तो भाजपा के पास 75 विधायकों का स्पष्ट तौर पर समर्थन है। निर्दलीय विधायक और बसपा से कांग्रेस में शामिल हुए 6 विधायकों के अलावा कांग्रेस के भीतर भी तोड़फोड़ कर करीब 25 विधायकों के भाजपा के समर्थन में होने की बातें कही जा रही हैं।
कांग्रेस के टूटने की पूरी संभावना
19 जून को राजस्थान की तीन राज्यसभा सीटों के लिए मतदान होगा। इसके लिए कांग्रेस के द्वारा दो उम्मीदवार खड़े किए गए हैं। जबकि भाजपा के द्वारा भी दो उम्मीदवार बनाए जाने के कारण कांग्रेस को डर है कि कहीं उनकी पार्टी में टूट-फूट नहीं हो जाए, इसलिए अपने सभी विधायकों को होटल में बंद किया गया है।
फिर से सक्रिय हुई वसुंधरा राजे
इधर पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे भी पिछले 1 सप्ताह से खासी सक्रिय नजर आ रही हैं। बताया जा रहा है कि वसुंधरा राजे के द्वारा पार्टी के जिला अध्यक्षों और मोर्चा अध्यक्षों को फोन करके कुशलक्षेम पूछी जा रही है।
ज्योतिरादित्य सिंधिया की तरह पायलट का खेल होना बाकी
कांग्रेस सूत्रों का कहना है कि जिस तरह से मध्यप्रदेश में ज्योतिरादित्य सिंधिया पार्टी छोड़कर भाजपा में शामिल हुए और कमलनाथ की सरकार को गिराया गया, ठीक उसी तरह से राजस्थान में भी सचिन पायलट कई विधायकों को साथ लेकर भाजपा में शामिल हो सकते हैं। ऐसे में गहलोत की सरकार अल्पमत में आ जाएगी।
सिंधिया और पायलट हैं गहरे मित्र
आपको बता दें कि हम उम्र ज्योतिरादित्य सिंधिया और सचिन पायलट दोनों गहरे मित्र हैं। दोनों ने साथ में विदेश में पढ़ाई की है और पार्टी में दोनों का सक्रिय आगमन भी करीब गरीब साथ ही हुआ है। इन दोनों के पिता भी मित्र हुआ करते थे। माधवराव सिंधिया और राजेश पायलट भी पार्टी में बगावत कर चुके हैं।