हमारे शरीर में रक्त कोशिकाओं में ऑक्सीजन का फ्लो होते रहता है। इसी वजह से लोगों को कॉटन के कपड़े पहनने की सलाह दी जाती है ताकि ऑक्सीजन की शरीर में सप्लाई बनी रहे। इस काम में आयरन भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। आयरन की मदद से ही बॉडी की सेल्स में ऑक्सीजन की सप्लाई होती है। आयरन हीमोग्लोबिन के निर्माण में भी सहायक है। एक स्वस्थ शरीर के लिए हीमोग्लोबिन का खास महत्व है। तो आइए जानते हैं कि हीमोग्लोबिन बनने की प्रोसेस और इसके महत्व के बारे में विस्तार से...
आयरन ही हमारे शरीर में प्रोटीन के साथ कॉन्बिनेशन करके हीमोग्लोबिन का निर्माण करता है। जब हम सांस लेते हैं तो फेफड़ों में मौजूद आयरन ऑक्सीजन को अपनी तरफ खींचता है और रेड ब्लड सेल्स के माध्यम से इसे पूरे शरीर में फैलाने का काम करता है। इन्हीं लाल रक्त कोशिकाओं में आयरन प्रोटीन के साथ कॉन्बिनेशन तैयार करता है, जिससे हीमोग्लोबिन बनने की प्रक्रिया शुरू होती है।
शरीर में हीमोग्लोबिन की मात्रा में कमी होने पर एनीमिया की शिकायत हो सकती है। इसकी कमी के मुख्य लक्षण कुछ इस प्रकार हैं: आलस चक्कर आना सिर दर्द रहना त्वचा में पीलापन आदि
ऐसे में हीमोग्लोबिन की सही मात्रा बनाए रखने के लिए आयरन बहुत जरूरी है। आयरन की कमी को दूर करने के लिए आपको अपने आहार पर विशेष ध्यान देना चाहिए। इसी कमी को दूर करने के लिए आप अपनी डाइट में चुकंदर, अनार, पालक, लाल मांस आदि को शामिल कर सकते हैं।
पूरे दिन के लिए शरीर में आयरन की मात्रा हमारे शरीर को पूरे दिन में आयरन की कितनी मात्रा की जरूरत है यह बात उम्र, जेंडर और वजन पर निर्भर करता है। 18 से 50 साल के व्यस्क पुरुषों को 8 g/dl और महिलाओं के लिए 19g/dl आयरन हर रोज चाहिए होता है।