हालांकि कोविड-19 की चपेट में कोई भी आ सकता हैं, इसलिए इम्यूनिटी बढ़ाने और इन्फेक्शन से बचाव के लिए जरूरी सावधानी रखना बेहद जरूरी होता है। लेकिन बुजुर्ग व्यक्ति, विशेषकर 60 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों का इस महामारी की चपेट में आने का खतरा ज्यादा होता है, क्योंकि बढ़ती उम्र के साथ इम्यूनिटी कमजोर होने लगती है। 60 साल से ज्यादा की उम्र के लोग, जो पहले से ही कई बीमारियों जैसे डायबिटीज और दिल की समस्याओं से जूझ रहे हैं, उनके लिए यह खतरा और भी बढ़ जाता है। एक बार बीमारी की चपेट में आ जाने के बाद उसमें बीमारी के लक्षण काफी गंभीरता और जानलेवा तरीके से उभरने लगते हैं। बुजुर्गों के इस इन्फेक्शन की चपेट में आने का खतरा ज्यादा होने से उन्हें इससे मुकाबले करने के लिए एडवांस मेडिकल सिस्टम की जरूरत होती है। इसलिए 60 साल से ज्यादा उम्र के लोगों के लिए पहले से ही कुछ टिप्स को फॉलो करके इस वायरस से बचकर रहना बेहद जरूरी होता है। अगर आपके घर में भी 60 साल से ज्यादा उम्र के बुजुर्ग हैं तो इस आर्टिकल में दिए टिप्स को जरूर अपनाने के लिए कहें। इन टिप्स के बारे में हमें डॉक्टर वैद्या'ज के सीईओ अर्जुन वैद्य ने बताया है।
सोशल डिस्टेंसिंग रखते हुए भी एक्टिव रहें
लॉकडाउन और सोशल डिस्टेंसिंग के माहौल में भी हेल्दी और अच्छी दिनचर्या रखना जरूरी है। इसके लिए रोजाना एक्सरसाइज करना, लोगों से बातचीत करना, हेल्दी डाइट और भरपूर नींद लेना जैसे टिप्स आपकी बॉडी के काम को सही तरीके से करने में मदद करते हैं। इससे आपकी इम्यूनिटी भी बढ़ेगी। महामारी के माहौल में भी आपकी मानसिक स्थिति हेल्दी और बेहतर होगी। हर दिन अपने घर में या छत पर कुछ देर वॉकिंग करने की कोशिश कीजिए। हालांकि इस बीमारी से बचाव के लिए सोशल डिस्टेंसिंग के नियम को फॉलो करना बेहद जरूरी है, लेकिन इसका यह मतलब नहीं है कि आप समाज से अलग हो जाएं। आप अपने दोस्तों या परिवार के सदस्यों से फोन कॉल या वीडियो के जरिये बातचीत कर सकते हैं।
हेल्पर्स की साफ-सफाई का ध्यान रखिए
अगर 60 साल या इससे ज्यादा की उम्र के लोगों के लिए घर में अटेंडेंट या हेल्पर है तो उनकी साफ-सफाई का भी पूरा ध्यान रखें। इनसे भी बुजुर्गों में इन्फेक्शन का खतरा रहता है। बुजुर्गो की देखभाल करते समय उनसे मास्क पहनने, लगातार अपने हाथ धोने या सैनिटाइज करने और जब तक हो सके, सुरक्षित दूरी बरकार रखने के लिए कहिए।
अच्छी आदतों को अपनाएं
डॉक्टर के पास बहुत जरूरी होने पर ही जाएं
जी हां जब तक बहुत जरूरी न हो, तब तक बुजुर्गों को डॉक्टर के पास ले जाने से बचें। बुजुर्गों को हॉस्पिटल जैसे बेहद जोखिम वाली जगहों पर सोशल डिस्टेंसिंग अपनाने की सलाह दी जाती है। हालांकि कई क्रोनिक बीमारियों से जूझ रहे बुजुर्गों को डॉक्टरों को दिखाने की जरूरत पड़ती है। लेकिन उनके लिए टेली और वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग की सलाह दे जाती है। जहां तक संभव हो, बुजुर्गों को देखने के लिए डॉक्टरों को घर पर बुलाना चाहिए।
इन टिप्स को फॉलो करें और इन्हें अपनी आदत बना लें। सभी टिप्स को अपनाने के बावजूद भी कोविड-19 के संभावित लक्षणों पर नजर रखिए। अगर आपके घर में मौजूद बुजुर्ग को सांस लेने में समस्या हो रही है, खांसी आ रही हो, बुखार हो और वह डाइजेशन की समस्या से जूझ रहे हैं या इससे संबंधित कोई लक्षण हैं तो इन्हें साधारण मानकर नजरअंदाज मत कीजिए। इस तरह की और जानकारी पाने के लिए हरजिंदगी से जुड़े रहें।