सहरसा। मतदान के तिथि नजदीक आ रही तो चुनाव प्रचार में उम्मीदवार भी ताकत झोंक रहे है। राज्य निर्वाचन आयोग द्वारा भी आचार संहिता के मद्देनजर भाग्य आजमा रहे उम्मीदवारों पर शिकंजा कसा जा रहा है।
निर्वाचन आयोग ने निर्देश जारी कर कहा है कि अगर कोई प्रत्याशी एक दूसरे के खिलाफ अनावश्यक टीका-टिप्पणी करेंगे, धार्मिक-जाति या ऐसी भाषा का प्रयोग करेंगे जिससे किसी की भावनाओं पर ठेस पहुंची तो ऐसी हरकत करने वालों के उसके खिलाफ आदर्श आचार संहिता उल्लंघन की कार्रवाई की जा सकती है।
निर्वाचन आयोग के निर्देश के अनुसार, चुनाव प्रचार-प्रसार के लिए सार्वजनिक स्थानों का उपयोग नहीं किया जा सकता है। वहीं कोई भी प्रत्याशी किसी के खिलाफ धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने की कोशिश की तो उनके साथ-साथ उनके कार्यकर्ताओं के खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी। अभ्यर्थियों को चुनाव कार्यालय खोलने की अनुमति दी गई है। अभ्यर्थी अपने निवास या कार्यालय पर प्रचार वाहन या चुनाव प्रचार के लिए पोस्टर बैनर आदि का उपयोग कर सकते हैं, लेकिन इसके लिए निर्वाची पदाधिकारी से अनुमति अनिवार्य है। कह कि कोई भी प्रत्याशी किसी भी राजनीतिक दलों के झंडे का इस्तेमाल नहीं कर सकते है। किसी भी सरकारी कार्यालयों के दीवार या चाहरदीवारी पर पोस्टर नहीं चिपकाया जा सकता है। राज्य निर्वाचन आयोग द्वारा दिए गए निर्देशों का पालन करना अनिवार्य है। किसी धर्म या समुदाय की भावनाओं को आहत किया गया तो उसके खिलाफ आदर्श आचार संहिता उल्लंघन का मामला दर्ज किया जाएगा।