सहरसा। जिले में शिक्षक नियोजन को लेकर सभी प्रखंडों में शिक्षक नियोजन के बाद भी 128 पद रिक्त रह गया। शिक्षक नियोजन को लेकर 278 रिक्तियां थीं। जिसमें से 150 पदों पर नियोजन किया गया। सामान्य शिक्षक सहित उर्दू विषय में शिक्षकों की नियुक्ति होनी थी। जिसमें से सामान्य शिक्षकों के लिए 136 पद थे। जिसमें 114 पदों पर नियोजन हुआ। उर्दू विषय में 142 रिक्ति थी। जिसमें 36 उर्दू शिक्षकों का ही नियोजन हो सका। शेष 106 पद खाली ही रह गया। जिले में उर्दू विषय के शिक्षक अभ्यर्थी गिनती के संख्या में ही थे। विभाग की मानें तो कुछ वर्ष पहले राज्य सरकार ने सिर्फ उर्दू शिक्षकों की बहाली बड़े पैमाने पर की थी। जिस कारण ही उर्दू विषय में अभ्यर्थी नहीं मिल सका। जिले के विभिन्न प्रखंडों में शिक्षकों की रिक्ति के विरूद्ध शिक्षक नियोजन किया गया।
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10 पंचायतों में नहीं आए अभ्यर्थी
जिले के 10 पंचायतों में शिक्षकों की रिक्ति के बाद भी एक भी अभ्यर्थी नहीं आए। इन पंचायतो में एससी- एसटी के लिए सीट आरक्षित था। आरक्षित पदों पर शिक्षक अभ्यर्थी नहीं मिले। एक भी अभ्यर्थी ने रिक्ति के विरूद्ध आवेदन नहीं दिया। जिस कारण इन दस पंचायतों में काउंसिलिग ही नहीं हो पायी है। शिक्षा विभाग ने राज्य सरकार को इन पंचायतों में पद रिक्त रहने की सूचना दे दी है।
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अभ्यर्थी नहीं मिलने के कारण ही जिले में 128 पदों पर शिक्षक नियोजन नहीं हो सका है। जिसमें से अधिकांश उर्दू विषय में रिक्तियां बची हुई है। राज्य सरकार को बची रिक्त पदों से अवगत करा दिया गया है। विभागीय निर्देश मिलने के बाद ही शेष रिक्तियों पर नियोजन किया जाएगा।जयशंकर प्रसाद ठाकुर, जिला शिक्षा पदाधिकारी